शिमला: राज्य सरकार ने पिछले डेढ़ साल में क्लास थ्री और फोर वर्ग में 136 गैर हिमाचलियों को सरकारी नौकरी दी है। ये आंकड़ा मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने मुकेश अग्निहोत्री, विक्रमादित्य सिंह, विनय कुमार और राकेश सिंघा के सवाल के जवाब में सदन में रखा। उन्होंने कहा कि पूर्व सरकार के समय जब इंटरव्यू खत्म किए गए, तब भर्ती नियमों में भी बदलाव किया जाना था।
ये बदलाव न होने के कारण गैर हिमाचली अभ्यर्थियों ने आवेदन किए और मैरिट के आधार पर चुने गए। उन्होंने कहा कि पूर्व कांग्रेस सरकार के समय भी 197 गैर हिमाचलियों को नौकरी दी गई थी। उन्होंने कहा कि चूंकि हिमाचल पंजाब या महाराष्ट्र की तरह पंजाबी या मराठी की शर्त लगाकर बाहरी लोगों को नहीं रोक सकता, क्योंकि हमारी बोलियां हैं, लेकिन कोई भाषा नहीं। इसलिए सरकार ने अब भर्ती नियमों में ही बदलाव कर 10वीं और 12वीं की परीक्षा हिमाचल में पास करने वाले अभ्यर्थियों के ही आवेदन लेने की शर्त लगा दी है। इसलिए अब दोबारा गैर हिमाचली क्लास थ्री और फोर में अब नहीं आ पाएंगे।
जहां तक बोनाफाइड हिमाचलियों का प्रश्न है तो उन्हें इस शर्त से बाहर रखा गया है। नए नियमों को 19 नवंबर 2019 से लागू कर दिया गया है। विधायक राकेश सिंघा ने सुझाव दिया कि इस तरह भर्ती नियम बदलने से कुछ नहीं होगा, सरकार को अनुच्छेद 371 को लागू करने की सोचनी चाहिए, क्योंकि जो हिमाचली कामकाज के लिए बच्चों समेत प्रदेश से बाहर चला गया, उसे यहां नौकरी नहीं मिलेगी। जवाब में सीएम ने कहा कि ऐसा नहीं है।
बोनाफाइड हिमाचली चाहे जहां भी रहे, उसका हक बरकरार रहेगा। इस विषय में पूर्व सरकार के समय हुई भर्ती का जिक्र आने पर नेता प्रतिपक्ष मुकेश अग्रिहोत्री और विधायक विनय कुमार ने एतराज जताया कि मुख्यमंत्री राजनीतिक जवाब दे रहे हैं, जबकि सबकी मंशा हिमाचली युवाओं के रोजगार को सुरक्षित करना है।
गैर हिमाचली अफसर आए मुकेश के निशाने पर
अनुपूरक प्रश्न में नेता प्रतिपक्ष मुकेश अग्रिहोत्री ने कहा कि इंटरव्यू खत्म करने का फैसला केंद्र की मोदी सरकार का था, जिसे पूर्व सरकार को मजबूरी में लागू करना पड़ा। उन्होंने आपत्ति जताई कि आउटसोर्स पर भर्ती हुए 12 लोग कौन हैं? साथ ही ऑफिसर गैलरी में बैठे अफसरों की ओर इशारा करते हुए मुकेश ने आरोप जड़ा कि सरकार में गैर हिमाचली अफसरों का बोलबाला है। ये लोग बाहर से अपने साथ लाते हैं।
जवाब में मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने अफसरों का बचाव किया कि जैसे हम एक व्यवस्था के चुनकर सदन में आते हैं, वैसे भी आईएएस अफसर भी एक व्यवस्था के तहत राज्यों के कैडर में आते हैं। ये आरोप सही नहीं हैं, जो इन पर लगाए जा रहे हैं। वह खुद चेक करेंगे कि आउटसोर्स पर बाहरी लोग कैसे आ रहे हैं?
क्लास थ्री और फोर के 57680 पद हैं खाली
राज्य में क्लास थ्री और क्लास फोर कैटेगिरी के कुल 57680 पद इस समय खाली चल रहे हैं। भाजपा विधायक कर्नल इंद्र सिंह के सवाल के लिखित जवाब में ये आंकड़ा मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर सदन में रखा है। इसमें 43,777 पद क्लास फोर और 13903 क्लास फोर के हैं। जवाब में कहा गया है कि इन पदों की भर्ती के लिए मामला राज्य कर्मचारी चयन आयोग और पूर्व सैनिक प्रकोष्ठ आदि भर्ती संस्थाओं के साथ उठाया जा रहा है। विभिन्न विभागों में 15315 पदों और पूर्व सैनिक बोर्ड एवं निगम में 4000 पदों को भरने की स्वीकृति सरकार ने दे रखी है। इसके अलावा प्रमोशन के जरिये भी ये रिक्तियां भरी जा रही हैं।