हेल्पलाइन पर 18 दिन में आई 52,000 काल्स, अब तक 14232 शिकायतें, 5600 का निपटारा
राजेश मंढोत्रा। शिमला : जयराम सरकार की मुख्यमंत्री सेवा संकल्प 1100 हेल्पलाइन को शुरुआत में शानदार रिस्पांस मिला है। जन शिकायतों को निपटाने का ये सरल और त्वरित माध्यम लोगों को इतना पसंद आया है कि महज 18 दिन में इस पर 52, 000 कॉल्स आ चुकी हैं। इसके अलावा 3 फीसदी कॉल्स अनअटेंडिड गई हैं, क्योंकि 30 सीटों वाले कॉल सेंटर की सभी लाइनें व्यस्त थीं।
इन 52,000 कॉल्स में से 14232 शिकायतें सरकार को मिलीं। बाकी या तो सुझाव थे या किसी सरकारी योजना की जानकारी के लिए कॉल थी। बुधवार तक कुल 14232 शिकायतों में से 5600 का निपटारा कर दिया गया था। इसमें भी नई बात ये है कि इस पूरे नेटवर्क पर करीब 25 विभागों में 7171 अफसर लगाए गए हैं, जो इन शिकायतों का निपटारा कर रहे हैं। बुधवार तक कुल 6482 जन शिकायतें लंबित थीं। 162 जनशिकायतों को विशेष परिस्थितियों में क्लोज किया गया था, क्योंकि इन्हें करने वालों ने कोर्ट केस या अन्य तरह की लीगल पेचीदगियों की बात छिपाई थी।
910 शिकायतें ऐसी पाई गई, जो जिस अधिकारी या विभाग से संबंधित बताई गईं, वहां की नहीं निकलीं। इस हेल्पलाइन को पिछले महीने 17 सितंबर को मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने लांच किया था, जिसका मुख्यालय टूटीकंडी पार्किंग भवन में बनाया गया है। मुख्यमंत्री और मुख्य सचिव इस हेल्पलाइन पर आने वाली सभी शिकायतों की रियल टाइम मॉनीटरिंग कर सकते हैं और दोनों के दफ्तरों में इसका डैशबोर्ड स्थापित किया गया है।
17 को समीक्षा, सामने आएंगे डिफाल्टर विभाग
17 सितंबर को शुरू की गई इस हेल्पलाइन को 17 अक्तूबर को पूरा महीना हो जाएगा। इसी दिन मुख्य सचिव डॉ. श्रीकांत बाल्दी इसकी समीक्षा करेंगे। अभी भी बहुत से विभाग ऐसे हैं, जो शिकायतों की सुनवाई में समयबद्ध काम नहीं कर रहे हैं। ऐसे डिफाल्टर्स विभागों और अफसरों की सूची 17 को ही बैठक में रखी जाएगी।
सबसे ज्यादा शिकायतें इन 10 विभागों से
विभाग शिकायतें
लोक निर्माण विभाग 2419
ग्रामीण विकास-पंचायती राज 2071
सिंचाई एवं जनस्वास्थ्य 1763
राजस्व विभाग 1294
राज्य बिजली बोर्ड 0927
पुलिस विभाग 0836
एचआरटीसी 0459
शहरी विकास विभाग 0376
स्वास्थ्य विभाग 0330
वन विभाग 0310
मुख्यमंत्री सेवा संकल्प हेल्पलाइन की शुरुआत बहुत अच्छी रही है। इसे लगातार निगरानी की जरूरत है। हम लोगों को शिकायतें, सुझाव, मांग या जानकारी लेने हेतु ये कॉमन प्लेटफार्म दे रहे हैं। इसमें जो भी बदलाव करने की जरूरत होगी, वो भी करेंगे।
-डॉ. श्रीकांत बाल्दी, मुख्य सचिव हिमाचल सरकार