हिमाचल दस्तक ब्यूरो। धर्मशाला
पूर्व मंत्री व कांग्रेस के राष्ट्रीय सचिव सुधीर शर्मा ने ठीक चुनावों से पहले ऐसा क्या हो गया जो धर्मशाला पर भाजपा सरकार इतनी मेहरबान हो रही है। धर्मशाला स्मार्ट सिटी ओर धर्मशाला नगर निगम कांग्रेस सरकार की देन हैं। शुक्रवार को जारी प्रेस विज्ञप्ति में सुधीर शर्मा ने कहा की नगर निगम चुनावों में भाजपा को धर्मशाला की अनदेखी का हिसाब देना होगा। उन्होंने कहा सरकार को दूसरी राजधानी, केंद्रीय विश्वविद्यालय, आइटी पार्क व प्रदेश फुटबाल एकैडमी और धर्मशाला बस टर्मिनल बारे अपनी स्थिति स्पष्ट करनी चाहिए।
नगर निगम चुनावों से ठीक पहले धर्मशाला विधानसभा को जो करोड़ों की सौगात मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने दी है उस सौगात की याद अभी ही क्यों आई। सुधीर ने कहा कि वर्ष 2017 के बाद धर्मशाला में विकास की गंगा क्यों उलटी बहने लगी। भाजपा के एक कैबिनेट मंत्री भी यहीं से थे तब ये सौगात और घोषणाओं का पिटारा कहां गुम हो गया था, भाजपा सरकार का तो हाल ‘थोथा चना बाजे घना’ जैसा है, नगर निगम चुनावों से पहले धर्मशाला पर इस तरह प्यार बरसाने का कारण जनता समझती है।
सुधीर ने कहा कि धर्मशाला विधानसभा ओर नगर निगम में जो भी विकास कार्य हुए हैं या चल रहे हैं वो कांग्रेस सरकार की देन हैं। धर्मशाला विधानसभा के लिए भाजपा सरकार का रवैया शुरू से ही उदासीन रहा है। सरकार बनने के तीन बरस पूरे हो जाने पर भी हिमाचल सरकार ने कभी धर्मशाला के विकास की तरफ ध्यान नहीं दिया। उल्टे जो विकास कार्य चल रहे थे वो भी अधर में झूल रहें हैं, जो विकास की लहर कांग्रेस ने 2012 से 2017 के बीच में क्षेत्र के लिए लाई उसका ही परिणाम है की आज सबके सामने पक्की सडक़ों, स्मार्ट सीटी, नगर निगम, ऑपन जीम, फुटपाथ, पार्क, सुचारू बिजली व्यवस्था (स्ट्रीट लाईट), पार्किंग, कई उठाऊ पेयजल योजनाओं को अमली जामा पहनाया गया, ये कांग्रेस सरकार की ही देन है जो धर्मशाला विकास के नये आयाम स्थापित कर पा रहा था। भाजपा सरकार आते ही क्षेत्र के विकास कार्यों को ठण्डे बस्ते में बंद कर दिया गया और धर्मशाला मात्र भाजपा के बड़े नेताओं को खुश करने के लिए कार्यक्रम आयोजन स्थल बन कर ही रह गया।