हिमाचल दस्तक ब्यूरो। धर्मशाला
कोरोना की तीसरी लहर की जिस तरह से संभावना जताई जा रही है, उसको लेकर जिला प्रशासन ने भी कमर कस ली है।
इंदौरा में मेकशिफ्ट अस्पताल के लिए जिला प्रशासन की ओर से भेजी गई प्रपोजल को सरकार से मंजूरी मिल चुकी है। देहरा, ज्वाली, फतेहपुर के कोविड मरीजों को मेकशिफ्ट अस्पताल की सुविधा न होने के चलते टांडा या धर्मशाला लाना पड़ रहा था, जिसके चलते प्रशासन ने इंदौरा में मेकशिफ्ट अस्पताल बनाने का निर्णय लेकर सरकार को प्रपोजल भेजी थी, जिसे मंजूरी मिल गई है।
वहीं बढ़ते मामलों के बीच ऑक्सीजन की सुविधा युक्त बेड की संख्या को भी 700 से बढ़ाकर 1100 करने पर कार्य किया जा रहा है। इसके अतिरिक्त मरीजों को लाने के लिए 11 नई एंबुलेंस की भी व्यवस्था की जा रही है।
एक बार फिर से मामले बढऩा शुरू हुए हैं, जिसके तहत खुंडियां तहसील के अंतर्गत एक कलस्टर बना है। खुंडियां में जो मामले सामने आए हैं, उनकी हिस्ट्री सामाजिक भीड़ का हिस्सा बनने की रही है। ऐसे में सभी को कोविड प्रोटोकॉल का कड़ाई से पालन सुनिश्चित करना होगा।
डीसी कांगड़ा डॉ. निपुण जिंदल ने कहा कि पिछले कुछ दिनों में कोरोना के मामले जिला में बढ़े हैं। खुंडियां तहसील के अंतर्गत एक कलस्टर बना है तथा इन लोगों की हिस्ट्री सामाजिक भीड़ का हिस्सा बनने की रही है।
संभावित तीसरी लहर को देखते हुए इंदौरा में कोविड मेकशिफ्ट अस्पताल बनाने को सरकार की मंजूरी मिल गई है। 11 नई एंबुलेंस की व्यवस्था की गई है तथा पुरानी भी यूज की जाएंगी।
कोरोना की दूसरी लहर के दौरान 700 ऑक्सीजन सुविधा युक्त बेड की व्यवस्था की गई थी, जिसे बढ़ाकर 1100 करने पर कार्य चल रहा है। सभी को कोविड प्रोटोकॉल का पालन सुनिश्चित करना चाहिए।