शिमला:
विधानसभा बजट सत्र के दूसरे दिन सरकारी कर्मचारियों सेवा विस्तार और तबादलों के मामले पर सदन गरमा गया। विपक्ष के नेता नारेबाजी करते हुए कुछ देर के लिए सदन से बाहर भी चले गए, लेकिन तुरंत ही लौट आए। विधायक रमेश धवाला का प्रश्न था कि वर्ष 2015 से 18 तक 1160 कर्मचारियों को किस आधार पर सेवा विस्तार दिया गया और इसकी एवज में उन्हें 28 करोड़ 32 लाख 85 हजार 580 रुपये सरकार को वेतन के रूप में देने पड़े।
धवाला का यह स्थगित प्रश्न था, जिसका बुधवार को पूरी जानकारी आने के बाद सदन में जवाब दिया गया। धवाला ने कहा कि प्रदेश सरकार वित्तीय संकट से जूझ रही है और इसके बावजूद कर्मचारियों को सेवा विस्तार दिया गया। इससे न केवल निचले स्तर के कर्मचारी पदोन्नति न होने से कुंठित हो जाते हैं, बल्कि बेरोजगारों के लिए रोजगार के अवसर भी कम हो जाते हैं। उन्होंने पूछा कि इसकी क्या जरूरत थी और क्या यह प्रक्रिया आगे भी जारी रहेगी या इस पर प्रतिबंध लगा दिया गया है।
मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने जवाब दिया कि 1160 कर्मचारियों को सेवा विस्तार देने का मामला वर्ष 2015-18 का है और इस अवधि में प्रदेश में कांग्रेस सरकार थी। कांग्रेस सरकार ने राजनीतिक लाभ लेने के लिए कर्मचारियों को सेवा विस्तार दिया था। उन्होंने बताया कि सेवा विस्तार (एक्सटेंशन) और पुनर्नियुक्ति (री-इंप्लाइमेंट) दोनों अलग-अलग है और भाजपा सरकार ने तो मात्र 20 कर्मचारियों को एक्सटेंशन और 213 को री-इंप्लाइमेंट किया है, जिनमें अधिकतर पटवारी हैं। उन्होंने कहा कि नियमों में यह प्रावधान है कि 58 वर्ष की आयु के बाद कर्मचारी को जनहित या विशेष परिस्थितियों में ही एक्सटेंशन दी जा सकती है।
भाजपा करे तो पुण्य, हम करें तो पाप: अग्निहोत्री
मुख्यमंत्री के उत्तर के बाद नेता प्रतिपक्ष अपनी सीट पर खड़े हो गए। उन्होंने कहा भाजपा करे तो पुण्य और हम करें तो पाप। उन्होंने कहा कि सत्ता प्राप्ति से पहले भाजपा कांग्रेस को रिटायर्ड और टायर्ड की संज्ञा देती रही। भाजपा से सैद्धांतिक रूप से यह कहा था कि उनकी सरकार ने री-इंप्लाइमेंट के बिलकुल खिलाफ है और किसी को भी पुनर्नियुक्ति नहीं दी जाएगी।
इसके बाजवूद सेवानिवृत्त कर्मचारियों की नियुक्तियां की जा रही हैं। इस दौरान सदन में काफी शोर-शराबा होने लगा और विपक्षी दल के नेता सीटों पर खड़े होकर नारेबाजी करने लगे। तबादलों व सेवा विस्तार के मामले में विपक्ष नेता नारेबाजी करते हुए बाहर चले गए, लेकिन तुरंत लौट आए। हालांकि मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने कहा कि आने वाले समय में बड़े स्तर पर सेवा विस्तार नहीं होगा और यदि जरूरी हुआ तो वहां करेंगे भी।