नई दिल्ली : छह बार की विश्व चैम्पियन एम सी मेरीकाम (51 किग्रा) ने शनिवार को यहां निकहत जरीन को 9-। से हराकर चीन में अगले साल होने वाले ओलंपिक क्वालीफायर के लिए भारतीय टीम में जगह बनाई।
इस मुकाबले में 36 साल की मेरीकाम ने बहुत दमदार मुक्के जमाकर स्पष्ट अंक हासिल किए और टीम में जगह सुनिश्चित की लेकिन बाक्सिंग बक्सग हॉल के अंदर माहौल तनावपूर्ण रहा क्योंकि जरीन (23 साल) ने ट्रायल की सार्वजनिक मांग कर विवाद खडा कर दिया था।
मुकाबले के दौरान और रिंग के बाहर दोनों मुक्केबाजों के बीच बहस भी हुई। जब नतीजा घोषित किया गया तो जरीन के घरेलू राज्य तेलंगाना मुक्केबाजी संघ के कुछ प्रतिनिधि इसका विरोध करने लगे।
मेरीकाम ने मुकाबले के बाद कहा, ”मैं थोडी नाराज थी। इसमें कोई शक नहीं। लेकिन अब सबकुछ हो गया। मैं आगे बड गई। मैं सिर्फ इतना ही कहना चाहूंगी कि बोलने से पहले प्रदर्शन करो, इससे पहले नहीं। आप रिंग में जो करते हो, उसे हर कोई देख सकता है। ”
ओलंपिक क्वालीफायर चीन में तीन से 14 फरवरी तक कराए जाएंगे। मुकाबले के बाद दोनों ने हाथ भी नहीं मिलाए और जरीन के गले लगाने की कोशिश की लेकिन मेरीकाम ने ऐसा नहीं किया। इसके बारे में पूछने पर उन्होंने कहा, ”हमारे खेल में इसे पकडना बोला जाता है। ”
मेरीकाम ने कहा, ”मैंने यह विवाद खडा नहीं किया। मैंने ऐसा कभी नहीं कहा कि मैं ट्रायल के लिए नहीं आऊंगी। इसलिए मैं बर्दाश्त नहीं कर सकती जब कोई आरोप लगाएगा कि यह मेरी गलती थी। यह मेरी गलती नहीं थी और मेरा नाम इसमें नहीं घसीटा जाना चाहिए। ”
जरीन ने कहा, ”उन्होंने जैसा बर्ताव किया, उससे मैं आहत हूं। उन्होंने रिंग के अंदर भी कुछ अभद्र भाषा का इस्तेमाल किया, लेकिन ठीक है। ” उन्होंने कहा, ”मैं जूनियर हूं, मुकाबला खत्म होने के बाद अगर वह गले लग जाती तो यह अच्छा होता। लेकिन मैं कोई टिप्पणी नहीं करना चाहती। ”
तेलंगाना मुक्केबाजी संघ के प्रतिनिधित्व कर रहे एपी रेड्डी ने इस फैसले का जोरदार विरोध किया। भारतीय मुक्केबाजी महासंघ के अध्यक्ष अजय सिंह ने बीच में आकर हालात नियंत्रित किए। अजय सिंह ने उन्हें रिंग के पास से हटने को कहा और निराश जरीन ने खुद उन्हें शांत किया। रेड्डी ने बाद में पत्रकारों से कहा, ”इस तरह की राजनीति में मुक्केबाजी आगे कैसे बडेगी। ” अजय सिंह ने कहा, ”मेरीकाम के बारे में कोई क्या कह सकता है, यह हमेशा ही कम होगा। वह प्रतिशाशाली मुक्केबाज हैं। जहां तक निकहत की बात है तो वह भविष्य के लिए अच्छी उम्मीद है और उन्होंने इस मुकाबले में भी प्रभावित किया। “
अन्य नतीजों में दो बार की विश्व रजत पदक विजेता सोनिया लाठेर (57 किग्रा) को साक्षी चौधरी ने शिकस्त दी। एशियाई पदकधारी लाठेर चौधरी के तेज तर्रार आव्रूमण के सामने नहीं टिक सकीं। वहीं 60 किग्रा वर्ग में पूर्व विश्व चैम्पियन एल सरिता देवी राष्ट्रीय चैम्पियन सिमरनजीत कौर से पराजित हो गईं। इस मुकाबले में भी चपलता अहम रही जिससे सिमरनजीत ने सरिता को तेज मुक्कों से पस्त किया।
विश्व चैम्पियनशिप में दो बार की कांस्य पदकधारी लवलीना बोरगोहेन (69 किग्रा) ने ललीता को हराकर टीम में जगह बनाई। एशियाई खेलों की पूर्व कांस्य पदक विजेता पूजा रानी ने नुपुर को हराकर 75 किग्रा वर्ग का स्थान हासिल किया। भारतीय टीम इस प्रकार है। एमसी मेरीकाम (51 किग्रा), साक्षी चौधरी (57 किग्रा), सिमरनजीत कौर (60 किग्रा), लवलीना बोरगोहेन (69 किग्रा) और पूजा रानी (75 किग्रा)।