शिमला: एनजीटी के आदेशों के बाद शिक्षा विभाग ने शिक्षण संस्थानोंं में सोलिड वेस्ट मैनेजमेंट को अपनाना शुरू कर दिया हैं। स्कूलों व हॉस्टलों में छात्राओं के इंसीनरेटर इंस्टॉल करने का काम शुरू हो चुका है। कई स्कूलों में इंसीनरेटर इंस्टॉल भी किए जा चुके हैं। करीब 200 से ज्यादा स्कूलों में इंसीनरेटर इंस्टॉल कर दिए गए हैं। इसके अलावा बाकि स्कूलों व कॉलेजों के लिए शिक्षा विभाग की ओर से टेंडर किए जा चुके हंै और जैम पोर्टल के माध्यम से खरीद प्रक्रिया की शुरू की जा चुकी है।
शिक्षा विभाग ने सभी जिलों के उपनिदेशकों और शिक्षण संस्थानों के प्रिंसिपलों को शिक्षण संस्थानों के प्रिंंसिपलों को आदेश दिए हैं कि जल्द से जल्द स्कूलों में सोलिड वेस्ट मैनेजमेंट को नियमों को अपनाने के लिए आदेश दिए हैं, ताकि एनजीटी के आदेशों की पालना की जा सके। शिक्षण संस्थानों को सोलिड वेस्ट मैनेजमेंट के नियमों को अपनाने और इनकी रिपोर्ट शिक्षा विभाग को भेजने के लिए कहा गया है। शिक्षा विभाग के अधिकारियों का कहना है कि प्रदेश के कई स्कूलों, कॉलेजों व अन्य शिक्षण संस्थानों ने सोलिड वेस्ट मेनेजमेंट के नियमों को अपनाना शुरू कर दिया हैं।
गौर रहे कि एनजीटी ने प्रदेश के सभी शिक्षण संस्थानों में सोलिड वेस्ट मैनेजमेंट के नियमों को अपनाने के लिए शिक्षा विभाग को आदेश दिए थे, ऐसे में अब शिक्षा विभाग ने सभी स्कूलों व शिक्षण संस्थानों में इन नियमों को लागू करने के आदेश दिए हैं। इसके तहत जहां छात्राओं के लिए शिक्षण संस्थानों व कॉलेजों में इंसीनरेटर की इंस्टॉल करना होगा, तो वहीं हॉस्टलों में बायो डाइजेस्टर भी इंस्टॉल करनें होंगे। इसके अलावा छात्र छात्राओं को सोर्स सेग्रीगेशन के बारे में जागरूक करने के लिए भी कहा गया है। यानि छात्र छात्राओं को गीले और सूखे कचरे के अलग अलग निष्पादन के लिए प्रेरित करना होगा। इसके अलावा छात्र छात्राओं को पॉली बिक््रस बनाने के बारे में भी बताना होगा, ताकि प्रदेश को प्लास्टिक मुक्त किया जा सके।
पंचायत और शहरी निकायों से ले सकते हैं सहायता
एनजीटी के निर्देशों के अनुसार तहत शिक्षण संस्थानों को संचालकों या प्रिंपिसपलों को गीले कचरे का निष्पादन स्वयं करना होगा, जबकि सूखे कचरे के निष्पादन के लिए पंचायत और शहरी निकायों के सहायता ली जा सकती है। ऐसे में शिक्षा विभाग ने सभी शिक्षण संस्थानों को हिदायत दी है कि इन निर्देशों का सख्ती से पालन किया जाए और इसकी अनुपालना की रिपोर्ट शिक्षा विभाग को भेजी जाए।
शिक्षण संस्थानों में इंसीनरेटर इंस्टॉल करने के लिए खरीद प्रक्रिया के लिए टेंडर कर दिए गए है और जैम पोर्टल के माध्यम से खरीद प्रक्रिया की जा रही है। करीब 200 स्कूलों में इंसीनरेटर इंस्टॉल किए भी जा चुके हैं।
-प्रमोद चौहान संयुक्त शिक्षा निदेशक