हिमाचल दस्तक ब्यूरो। बिलासपुर
बिलासपुर पीओ सेल ने एक सड़क हादसे के मामले में न्यायालय द्वारा उद्गोषित अपराधी को 5 वर्ष के बाद लुधियाना (पंजाब) से गिरफ्तार किया है।
पुलिस ने आगामी कार्रवाई के लिए आरोपी बस चालक को सदर पुलिस के हवाले कर दिया है। जानकारी के अनुसार 8 नवंबर, 2014 को अकी बाई ओसवाल विद्या मंदिर लुधियाना के बच्चे स्कूल की मुख्याध्यिापिका मीरा रानी पत्नी राकेश के साथ श्री नयना देवी में मां नयना देवी के दर्शन के लिए ग्रेट इंडिया टूअर ट्रैवल की बस (पीबी03आर-2725) में आए थे।
इस बस को चालक परमजीत निवासी मायापुरी (लुधियाना) चला रहा था। शिकायतकर्ता मीरा रानी ने पुलिस में दर्ज शिकायत में कहा था कि सायं करीब 4.30 बजे वह श्री नयना देवी में माथा टेकने के बाद बस में बैठ रहे थे कि उस दौरान कुछ बच्चे बस में बैठ चुके थे। वह भी बस में चढ़ रही थी तभी बस चालक ने कहा कि बस की ब्रेक नहीं लग रही है। वह उसी समय बस से नीचे उतर गई।
बस आगे चल पड़ी तथा कुछ दूरी पर एक लड़की व लड़के ने चलती बस से छलांग लगा दी तथा लड़की बस के पिछले टायर के नीचे आ गई जिन्हें प्राथमिक चिकित्सा सहायता के लिए सीएचसी गवांडल ले जाया गया, जहां से उसे प्राथमिक उपचार के बाद तुरंत आनंदपुर साहिब अस्पताल के लिए रेफर कर दिया, जहां पर चिकित्सक ने पीड़िता प्रीति को चेकअप करने के उपरांत मृत घोषित कर दिया।
बाद में पुलिस से पता चला कि यह हादसा बस चालक परमजीत सिंह की लापरवाही के कारण हुआ है। पुलिस ने शिकायतकर्ता मीरा रानी के बयान के आधार पर बस चालक के खिलाफ मामल दर्ज किया।
मामला न्यायालय में पेश होने पर आरोपी परमजीत सिंह को न्यायालय द्वारा समन, वारंट, नोटिस जारी किए जाते रहे, लेकिन आरोपी किसी भी पेशी में हाजिर अदालत न हुआ। इस पर अदालत ने बस चालक परमजीत को 6 सितंबर, 2017 को उद्घघोषित अपराधी घोषित कर दिया, जिसकी तलाश का जिम्मा पीओ सेल बिलासपुर को सौंपा गया।
पीओ सेल उसकी तलाश हरियाणा, चंडीगढ़, पंजाब में लुधियाना, रोपड़, किरतपुर, आनंदपुर साहिब, चमकौर साहिब, मोगा इत्यादि में की जाती रही, परंतु उद्घघोषित अपराधी परमजीत सिंह हर बार बचने का प्रयास करता रहा।
पीओ सेल की टीम में शामिल पीओ सेल प्रभारी दौलत राम, राकेश कुमार व रविंद्र कुमार ने इस उद्घघोषित अपराधी परमजीत को कड़ी मशक्कत के बाद लुधियाना से 5 वर्ष बाद गिरफ्तार किया गया। उधर, एसपी एसआर राणा ने मामले की पुष्टि की है।