नई दिल्ली (भाषा): फर्जी आईपीएस अधिकारी बनकर महिलाओं को फोन करके सरकारी नौकरी का प्रलोभन देकर परेशान करने वाले उत्तर प्रदेश के एक व्यक्ति को छेड़छाड़ के मामले में रविवार को गुडग़ांव के एक गांव से गिरफ्तार किया गया। दिल्ली पुलिस ने यह जानकारी दी।
उन्होंने बताया कि आरोपी की पहचान उत्तर प्रदेश के कुशीनगर जिले के रहने वाले गौरी शंकर (38) के रूप में हुई है। उसे हरियाणा के मुल्लाहेड़ा गांव से गिरफ्तार कर लिया गया। उसके खिलाफ आईपीसी की धारा 354 अ के तहत(महिलाओं से छेड़छाड़)का मामला दर्ज कर लिया गया है। पुलिस के मुताबिक गौरीशंकर महिलाओं को मोबाइल पर अश्लील संदेश और वीडियो भेजकर परेशान करता था। पुलिस ने बताया कि आरोपी महिलाओं को फोन कर खुद को आईपीएस अधिकारी बताता था और उन्हें सरकारी नौकरी दिलाने का प्रलोभन देता था। परिचय होने के बाद वह महिलाओं को व्हाट्सएप पर अश्लील वीडियो और संदेश भेजता था।
पुलिस उपायुक्त (दक्षिण) अतुल कुमार ठाकुर ने बताया कि यह मामला पहली बार 25 नवंबर को दक्षिणी दिल्ली के कोटला मुबारकपुर इलाके की एक महिला के शिकायत दर्ज कराने के बाद सामने आया था। महिला ने पुलिस को सूचना दी थी कि एक व्यक्ति करीब महीने भर से उसे अश्लील संदेश और अश्लील वीडियो भेजकर परेशान कर रहा है। वह उसे अक्सर फोन कर के गालियां देता था।
उन्होंने कहा कि जब पुलिस ने फोन नंबर पर संपर्क किया तो फोन उठाने वाले व्यक्ति ने खुद को आईपीएस अधिकारी बताया। उपायुक्त ने कहा जांच के दौरान यह पाया गया कि उस व्यक्ति ने एक फर्जी आईडी पर नंबर खरीदा था या किसी और के नंबर का इस्तेमाल कर रहा था। नंबर गुजरात के आनंद जिले के पते पर लिया गया है। पुलिस के मुताबिक गौरीशंकर से पीड़ित अधिकांश महिलाएं उत्तर प्रदेश और हरियाणा से हैं।
गिरफ्तार होने के बाद आरोपी ने पुलिस को बताया कि कुशीनगर में उसकी सिम कार्ड बेचने की दुकान थी जिसकी वजह से उसके पास कई अनजान लोगों के फोन नंबर थे। चार साल पहले एक दुर्घटना के बाद उसे अपनी दुकान बंद करनी पड़ी। उसके बाद वह दिल्ली में एक सुरक्षा गार्ड की नौकरी करने लगा। वह खुद को उत्तर प्रदेश का वरिष्ठ
पुलिस अधिकारी बता महिलाओं को फोन करने लगा। गौरीशंकर 2010 में कुशीनगर में हुए दंगों में संलिप्त था। वह शादीशुदा है और उसके दो बच्चे भी हैं। पुलिस का कहना है कि वे आरोपी से पीड़ित दूसरी महिलाओं से संपर्क करने की कोशिश कर रहे हैं।