चंद्रमोहन चौहान। ऊना
जिला क्रशर एसोसिएशन द्वारा की गई अनिश्चितकालीन हड़ताल आज चौथे दिन में प्रवेश कर गई। क्रशर उद्योग एसोसिएशन का आरोप है कि क्रशर उद्योग प्रदेश सरकार को सबसे ज्यादा राजस्व दे रहा है जबकि करीब एक लाख लोगों को रोजगार भी दिया जा रहा है बावजूद इसके सरकार उनकी मांगों को अनसुना कर रही है।
क्रशर उद्योग एसोसिएशन के प्रदेशाध्यक्ष डिंपल ठाकुर ने कहा कि एसोसिएशन सरकार से लगातार मेकेनिकल माइनिंग की इजाजत के साथ साथ अवैध खनन पर रोक लगाने की मांग उठा रही है। वहीँ उन्होंने कहा कि क्रशर उद्योग ब्लैकमेलिंग का भी शिकार हो रहा है और सरकार को अनधिकृत लोगो को उनके उद्योगों में आने पर रोक लगानी चाहिए। जिला में चल रही इस हड़ताल के कारण सरकारी विकास कार्य तो ठप होने ही लगे हैं साथ ही साथ निजी क्षेत्र के भी निर्माण कार्य बुरी तरह प्रभावित हो रहे हैं।
एसोसिएशन ने ऐलान किया है कि यदि जरूरत पड़ी तो मांगों के समर्थन में क्रशर उद्योग एसोसिएशन सड़कों पर उतरकर आंदोलन करने से भी गुरेज नहीं करेगी। एसोसिएशन की प्रमुख मांगों में क्रशरों को मैकेनिकल माइनिंग, यानी 80 एचपी पावर तक माइनिंग की अनुमति दी जाए।
किसी भी लीज एरिया तथा क्रशर एरिया में अधिकृत अधिकारी के अतिरिक्त असामाजिक अनधिकृत, शरारती एवं गतिरोध करने वाले किसी भी व्यक्ति को प्रवेश की अनुमति न दी जाए।
एसोसिएशन के प्रदेशाध्यक्ष डिंपल ठाकुर का कहना है कि प्रत्येक क्रशर और लीज एरिया में ऐसी मशीनों से माइनिंग करने की अनुमति दी जाए जो नियमों के अनुसार हो क्योंकि श्रमिक या मैनुअल तरीके से माइनिंग करना कतई संभव नहीं है।
डिंपल ठाकुर ने कहा कि हर कोई इस उद्योग को बदनाम करने पर तुला हुआ है जबकि देश और विदेश के विकास में यही उद्योग कारगर भूमिका अदा कर रहा है।