- हाईकोर्ट ने कहा तबादला नियमों का पालन करना सरकार की जिम्मेदारी
- बागवानी विभाग के विषयवाद विशेषज्ञ को दोबारा भेज दिया था होली
हिमाचल दस्तक ब्यूरो। शिमला : प्रदेश हाईकोर्ट ने यह स्पष्ट किया कि राज्य सरकार ने जनजातीय क्षेत्रों से निर्धारित कार्यकाल पूरा करने के पश्चात स्थानांतरित करने बाबत जो तबादला नीति बनाई है, उसकी अनुपालना सुनिश्चित करना राज्य सरकार की ही जिम्मेदारी है।
मुख्य न्यायाधीश लिंगप्पा नारायण स्वामी, न्यायाधीश धर्म चंद चौधरी की खंडपीठ ने राजकुमार द्वारा दायर याचिका की सुनवाई के दौरान यह निर्णय पारित किया। याचिका में दिए तथ्यों के अनुसार प्रार्थी जो हॉर्टिकल्चर डिपार्टमेंट में सब्जेक्ट मैटर स्पेशलिस्ट के तौर पर कार्य कर रहा है, का तबादला 1 अगस्त 2016 को बी कीपिंग स्टेशन किनाला होली के लिए किया गया था। प्रार्थी के अनुसार यह स्टेशन जनजातीय क्षेत्र की श्रेणी में आता है। प्रार्थी ने अपनी याचिका में यह आरोप लगाया था कि राज्य सरकार उसे उसका जनजातीय क्षेत्र में कार्यकाल पूरा होने के बावजूद उसके इच्छा वाले स्टेशन पर तब्दील नहीं कर रही है, जबकि प्रार्थी ने अपने स्थानांतरण बारे सक्षम अधिकारी को प्रतिवेदन भेज दिया है।
राज्य सरकार द्वारा उसके प्रतिवेदन पर कोई भी आदेश न पारित करने की स्थिति में प्रार्थी को मजबूरन हाईकोर्ट का दरवाजा खटखटाना पड़ा। प्रदेश उच्च न्यायालय ने प्रार्थी की याचिका को जायज पाते हुए राज्य सरकार को आदेश दिए कि वह 4 सप्ताह के भीतर प्रार्थी को उसकी इच्छा वाले स्टेशन पर तब्दील करने बाबत आदेश जारी करे।