ललित ठाकुर। पधर
कृष्ण गौसदन कुन्नू के मृत पशुओं के ताजे कंकाल लोगों के घर पहुंच रहे हैं जिस कारण लोगों में गौसदन संचालन के खिलाफ भारी रोष है।
ग्राम पंचायत कुन्नू के पूर्व उपप्रधान हरदेव सिंह ठाकुर, परमदेव और गुड्डू राम, कमल किशोर ने बताया कि कृष्ण गौसदन कुन्नू में मर रहे पशुओं को सदन संचालन सही ढंग से नहीं दफनाते जिस कारण आवारा कुत्ते इन पशुओं के कंकाल अब लोगों के घर और मंदिर पहुंचा रहे हैं।
उन्होंने कहा कि गौसदन में पशु हर दिन मर रहे हैं। उन्होंने कहा कि गौसदन कुन्नू बाजार, पंचायत कार्यालय, प्राइमरी स्कूल और मिडल स्कूल से लगभग 100 और 50 मीटर की दूरी पर है जिस कारण कभी भी कोई बड़ी महामारी इन पशुओं के कंकाल से मानव जीवन को हो सकती है।
हालांकि पंचायत ने इस गौ सदन को बंद करने के लिए सीएम को प्रस्ताव भेजा था लेकिन सरकार अभी तक इस पर कोई भी कार्रवाई नहीं कर पाई। लोगों का कहना है कि गौसदन खुलने के बावजूद गौवंश सड़कों पर है, जबकि लावारिस पशुओं के लिए ही ये गौसदन खोले गए हैं।
हरदेव सिंह ठाकुर ने कहा कि अगर गौसदन संचालन की व्यवस्था ऐसी ही रही तो गर्मियों में इन मृत पशुओं की दुर्गंध और अधिक बढ़ जाएगी। हरदेव सिंह ने बताया कि गौसदन के मामले को 15 अप्रैल को पधर दौरे पर आ रहे सीएम जयराम ठाकुर से भी उठाया जाएगा और इस गौसदन को बंद करने का आग्रह किया जाएगा। उन्होंने डीसी मंडी से आग्रह किया है कि इस गौसदन का दौरा कर संचालन पर उचित कार्रवाई करें।
पशु अस्पताल पधर की डाक्टर निशा ठाकुर ने बताया कि पशुओं के कंकाल का गांव में पहुंचना मेरे ध्यान में नहीं है। इस बारे में गौसदन कमेटी को मृत पशुओं को सही तरीके से डिस्पोज करने को कहा जाएगा, ताकि लोगों को कोई परेशानी न हो।
गौसदन कमेटी के सचिव मंघरु राम ने बताया कि लोगों की शिकायत पर मैंने गांव का दौरा किया और लोगों को पूछा, लेकिन पशुओं का कोई भी कंकाल नहीं मिला है।