हिमाचल दस्तक। रामपुर बुशहर
नगर परिषद रामपुर ठेका मजदूर यूनियन संबंधित सीटू ने पिछले 3 महीने से वेतन (Salary) न मिलने के विरोध में शुक्रवार को नगर परिषद रामपुर के कार्यालय के बाहर नगर परिषद प्रशासन और श्रम विभाग रामपुर के खिलाफ प्रदर्शन किया।
इस अवसर पर सीटू शिमला जिला अध्यक्ष कुलदीप सिंह, रणजीत ठाकुर व अन्य नेताओं ने कहा कि नगर परिषद के अंदर कार्य कर रहे सभी ठेका मजदूरों को पिछले लंबे समय से समय पर वेतन नहीं मिल रहा है जिसके विषय में बार-बार लिखित व मौखिक रूप से नगर परिषद प्रबंधन, ठेकेदार व श्रम अधिकारी रामपुर को अवगत करवाया।
वेतन न मिलने कारण इन ठेका मजदूरों को बार-बार कई प्रकार की आर्थिक परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है। चिंता की बात यह है कि सरकार कहती है कि कोरोनाकाल में किसी भी मजदूर का वेतन नहीं रोका जाना चाहिए। मजदूरों को समय पर वेतन दिया जाए पर दूसरी तरफ नगर परिषद का प्रबंधन व ठेकेदार सरकारी आदेशों की खुली उल्लंघना कर रहे हैं।
उन्होंने कहा कि 24 मई, 2021 को माननीय सुप्रीम कोर्ट ने अपने आदेश में कहा है कि कोई भी प्रवासी मजदूर भूखा नहीं रहना चाहिए। प्रवासी मजदूरों के लिए खाने व सूखे राशन का इंतजाम राज्य सरकार द्वारा किसी भी योजना के माध्यम से करना है, पर रामपुर नगर परिषद के अंदर काम कर रहे सभी ठेका मजदूर प्रवासी हैं, जिनका खुला शोषण ठेकेदार व नगर परिषद प्रबंधन द्वारा किया जा रहा है।
कोई श्रम कानून इन मजदूरों पर लागू नहीं हो रहे हैं जिसके कारण इन मजदूरों को कभी भी श्रम कानून के अनुसार हर माह की 7 तारीख से पहले वेतन नहीं मिल रहा है।
अभी भी 3 माह का वेतन न देना और अपनी मांग को उठाने पर नौकरी से निकालने की धमकी ठेकेदार व नगर परिषद के प्रबंधन द्वारा देना इसका सबूत है। इस धरने के माध्यम से वक्ताओं ने कहा कि यदि 3 महीने का वेतन 15 जून तक मजदूरों को नहीं मिला तो आने वाले समय में यूनियन आंदोलन को तेज करेगी, जिसकी जिम्मेदारी सरकार व नगर परिषद प्रशासन की होगी।