ग्रामीणों ने मुख्य सचिव से क्षेत्र को विकसित करने की लगाई गुहार
प्रवेश शर्मा। परागपुर : जिला कांगड़ा के जसवां-परागपुर विस क्षेत्र के तहत दो हेरिटेज विलेज परागपुर और गरली आते हैं। बावजूद इसके दोनों हेरिटेज विलेज विकास के लहजे से अभी भी कोसों दूर है।
हालांकि प्रदेश सरकार ने यहां के विकास एंव उत्थान के लिए हेरिटेज विलेज कमेटी गरली-परागपुर का गठन कर डीसी कांगड़ा को उसका अध्यक्ष व एसडीएम देहरा को उपाध्यक्ष तथा जिला पर्यटन अधिकारी को सदस्य मनोनीत किया हुआ है, परंतु 22 वर्ष का लंबा समय बीत जाने पर भी जिला व उपमंडल प्रशासन तथा पर्यटन विभाग का ध्यान परागपुर और गरली की तरफ नहीं गया, जबकि परागपुर को देश का प्रथम हेरिटेज विलेज कहा जाता है। गूगल सर्च इंजन पर सर्च करने पर विकिपीडिया में भी परागपुर को देश का प्रथम हेरिटेज विलेज बताया गया है, जिसे पढ़कर विदेश के पर्यटक परागपुर व गरली को देखने के लिए पहुंचते हैं।
यहां पर कई कमियां देखने के बाद वे भी अपने आपको ठगा सा महसूस करते हैं। वास्तव में धरातल पर क्या-क्या विकास कार्य हुए हैं उनकी जानकारी स्थानीय लोगों को तो नहीं है, परंतु प्रदेश सरकार व प्रशासन के पास भी यहां के विकास कार्यों के आंकड़े नहीं। आलम यह है कि मौजूदा समय में हेरिटेज टूरिज्म पर कुछ भी बोलने से सरकार भी बच रही है।
परागपुर पंचायत प्रधान सुदेश कुमारी, उपप्रधान मदन गोपाल, गरली पंचायत प्रधान तिलक राज, उपप्रधान निखिल चौहान, परागपुर पंचायत पूर्व प्रधान रुपिंद्र सिंह डैनी, पूर्व प्रधान पं. देवराज शर्मा, पूर्व उपप्रधान मदन पटियाल ने प्रदेश के मुख्य सचिव (पर्यटन) श्रीकांत बाल्दी से अनुरोध किया है कि वे हेरिटेज टूरिज्म पॉलिसी 2019 के तहत हेरिटेज विलेज परागपुर और गरली को विकसित करने के दिशा निर्देश हेरिटेज विलेज कमेटी गरली-परागपुर को दें, ताकि पर्यटन के क्षेत्र में पिछले कई वर्षों से लगातार हो रही अनदेखी 22 वर्षों के बाद तो दूर हो सके।
उन्होंने यह भी कहा कि जब तक पर्यटन सचिव उक्त मामले पर ठोस कदम नहीं उठाएंगे, तब तक परागपुर और गरली हेरिटेज विलेज विकास को यूं ही तरसते रहेंगे।
यदि हेरिटेज टूरिज्म पॉलिसी 2019 के तहत हेरिटेज विलेज परागपुर व गरली को पर्यटन की दृष्टि से विकसित करने के किसी प्रकार के दिशा-निर्देश प्रदेश सरकार की तरफ से मिलेंगे, तो उस पर हेरिटेज विलेज कमेटी अवश्य कार्य करेगी।
-धनवीर सिंह ठाकुर एसडीएम देहरा